लंदन में दूसरी बार कोरोना से एक भी मौत नहीं…भारत को बदलनी चाहिए वैक्सीनेशन को लेकर रणनीति ?

लंदन में दूसरी बार कोरोना से एक भी मौत नहीं…भारत को बदलनी चाहिए वैक्सीनेशन को लेकर रणनीति ?
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नई दिल्ली
देश में कोरोना मामले रेकॉर्ड स्तर से बढ़ते जा रहे हैं। महाराष्ट्र, कर्नाटक, तमिलनाडु, केरल और दिल्ली में हर दिन एक नया रेकॉर्ड बनता जा रहा है। जबकि इससे पहले जनवरी और फरवरी के शुरूआती दिनों में मामले हर प्रदेश में बहुत कम होने लगे थे। लेकिन इसी बीच लंदन से एक अच्छी खबर सामने आई है। लंदन में रविवार को दूसरी बार कोरोना से एक भी मौत नहीं हुई।

लंदन में एक भी मौत नहींब्रिटेन में अब तक कोरोना वायरस से 1,26,670 लोगों की मौत हो चुकी है। यहां पर अभी तक 30 मिलियन से अधिक लोगों को कोरोना वैक्सीन लग चुकी है। पब्लिक हेल्थ इंग्लैंड के मुताबिक यह पहली बार है जब राजधानी लंदन में में 27 फरवरी के बाद पहली बार शून्य मौतें हुई हैं। जनवरी के मुकाबले अब यहां पर मौतों का आंकड़ा बिल्कुल कम हो गया है।

भारत में बदलनी होगी वैक्सीनेशन रणनीतिवहीं भारत में ये आंकड़ें रफ्तार के साथ आगे बढ़ते जा रहे हैं। की पॉलिसी पर बहुत से लोग सवाल उठा चुके हैं। भारत में अभी 60 साल से ऊपर और 45 से ऊपर किसी बीमारी ग्रस्त लोगों का ही वैक्सीनेशन किया जा रहा है। कुछ दिनों पहले हमारे सहयोगी अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया में कार्डियक सर्जन और नारायणा हेल्थ के अध्यक्ष और संस्थापक देवी शेट्टी ने एक लेख में लिखा है कि अब लॉकडाउन की जरूरत नहीं बल्कि जरूरत है कि 20 से 45 साल के लोगों को टीका लगाया जाए।

20-45 साल के लोग सुपर स्प्रेडरउन्होंने आगे कहा था कि एक अच्छा मौका है कि हम अगले छह महीनों के भीतर महामारी को रोक सकते हैं यदि हम युद्धस्तर पर बड़े पैमाने पर टीकाकरण करते हैं। उन्होंने कहा कि 20 से 45 वर्ष के बीच के लोगों के टीकाकरण पर अब जोर देना चाहिए क्योंकि इन्हीं एज ग्रुप के लोग असली सुपर स्प्रेडर हैं। हम अपनी राज्य सरकारों से इस विदेशी वायरस से छिपने और इस चुनौती को पार करने के बजाय अपने लोगों की ताकत पर भरोसा करने का आग्रह करते हैं।

सभी को लगानी होगी वैक्सीनभारत में 1 अप्रैल से 45 साल से ऊपर वाले लोगों को वैक्सीनेशन देने की शुरूआत होगी जबकि विशेषज्ञों का मानना है कि सबसे ज्यादा 20 से 45 साल उम्र के लोग सुपर स्प्रेडर का काम कर रहे हैं। सबसे पहले इनको वैक्सीनेट करना होगा। भारत के अलावा और दूसरे मुल्कों में सभी आयु वर्ग लोगों को वैक्सीनेशन दिया जा रहा है जिसकी वजह से वहां पर मौत के आंकड़े कम होते जा रहे हैं। मगर भारत में वैक्सीनेशन को लेकर अलग पॉलिसी है।

भारत में 271 की मौतभारत में बीते 24 घंटे में 56,211 और लोगों के कोरोना वायरस से संक्रमित होने की पुष्टि हुई। इसके साथ ही देश में अब तक कोविड-19 की जद में आए लोगों की कुल संख्या बढ़कर 1,20,95,855 हो गई है। इस अवधि में 271 और मरीजों की संक्रमण से मौत हुई है जिससे देश में महामारी से जान गंवाने वालों की कुल संख्या बढ़कर 1,62,114 हो गई है।

भारत में वैक्सीनेशनभारत में सबसे पहले फ्रंट लाइन वर्कर्स को फिर 60 साल के ऊपर वाले लोगों को उसके बाद 45 साल से ऊपर मगर कोई बीमारी से ग्रसित हो उन लोगों को ही वैक्सीनेशन किया गया। यहां अब तक 61.1 मिलियन लोगों को वैक्सीन की पहली डोज दी जा चुकी है। जबकि 8.9 मिलियन लोगों को वैक्सीन की दोनों खुराक लग चुकी है। यहां पर वैक्सीनेशन तो तेजी से किया जा रहा है लेकिन इसके साथ-साथ वैक्सीनेशन के नियमों में सुधार होने के बाद ही कोरोना को रोका जा सकता है।

साभार : नवभारत टाइम्स

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