पाक में चलेगी चीन की करंसी
इस्लामाबादः पाकिस्तान पर कब्जे की अपनी चाल में चीन (ड्रैगन) धीरे-धीरे कामयाब होता नजर आ रहा है और उसका एक और दाव भी चल गया है । इसकी ताजा मिसाल है पाक के योजना एवं विकास मंत्री एहसान इकबाल का बयान । पाक के योजना मंत्री ने बताया कि उनकी सरकार एक ऐसे प्रस्ताव पर विचार कर रही है जिसके तहत अब चीन और पाकिस्तान के बीच व्यापार डॉलर की जगह युआन में हो।
एहसान इकबाल ने चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे के लिए लॉन्ग टर्म प्लान (LTP) के आधिकारिक लॉन्च के वक्त इस संबंध में चर्चा की। पाकिस्तान के अखबार ‘द डॉन’ के मुताबिक, 2017-30 के लिए बनाए इस प्लान पर दोनों देशों ने 21 नवंबर को हस्ताक्षर किए थे। नव नियुक्त चीनी राजदूत याओ जिंग और अन्य अधिकारी भी योजना को लॉन्च करते समय मौजूद थे।
जब एहसान इकबाल से पूछा गया कि क्या चीनी करंसी को पाकिस्तान में इस्तेमाल किया जा सकता है तो उन्होंने जवाब दिया, ‘चीन की इच्छा है कि दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय व्यापार उनकी करंसी यानी युआन में हो और हम डॉलर की बजाय युआन के इस्तेमाल को लेकर अभी विचार कर रहे हैं।’ एहसान ने यह भी कहा कि युआन का इस्तेमाल पाकिस्तान के हितों के खिलाफ भी नहीं होगा बल्कि यह उनके लिए फायदेमंद ही साबित होगा।
एक अधिकारी के मुताबिक चीन की मांग को मानकर पाकिस्तान ने एक ठोस कदम उठाया है। देश में फिलहाल अंतर्राष्ट्रीय व्यापार के लिए सिर्फ डॉलर ही इस्तेमाल किया जा सकता है और चीन की करंसी को डॉलर का दर्जा देने में अभी 3 साल का वक्त लगेगा। दोनों देशों को LTP के तहत तीन चरणों में एक-दूसरे का सहयोग करना है। पहला फेज 2020, दूसरा फेज 2025 और तीसरा फेज 2030 तक पूरा होगा। इकबाल ने CPEC प्रॉजैक्ट्स के लिए चीन की तरफ से फंडिंग रोकने के दावों को भी गलत बताया।
इस बयान से 2 दिन पहले ही चीन ने पाकिस्तान के छोटे से तटीय शहर ग्वादर के लिए 50 करोड़ डॉलर यानी करीब 3300 करोड़ रुपए ग्रांट दी है । इस छोटे से शहर के् लिए इतनी बड़ी ग्रांट देकर चीन का पाकिस्तान में पैर जमाने का है।