…तो क्या दूसरी कंपनियों को भी दिया जाएगा कोवैक्सीन का फॉर्मूला, सीएम केजरीवाल और सिसोदिया ने किया वेलकम
पूरे देश में कोरोना वैक्सीनेशन तेजी से हो रहा है लेकिन इस वक्त वैक्सीन की भारी कमी चल रही है। वैक्सीन का प्रोडक्शन बढ़ाने के लिए कई दलों ने सरकार से मांग की थी वो अन्य कंपनियों को भी दिया जाए। नीति आयोग मेंबर डॉ. वी. के पॉल ने कहा कि अगर कोई कंपनी सारे नॉम्स पूरे करके आवेदन करेगी तो हम जरूर फॉर्मूला शेयर करेंगे। उन्होंने कहा ये उतना आसान नहीं है जैसा आपको लग रहा है। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने केंद्र सरकार के उस फैसले की तारीफ की है जिसमें कोवैक्सीन का फॉर्मूला अन्य कंपनियों को देने की बात कही गई। केजरीवाल ने कहा कि ये स्वागतयोग्य कदम है।
इतना आसान नहीं है वैक्सीन का प्रोडक्शनकोवैक्सीन का फॉर्मूला दूसरी कंपनियों को देने के सवाल पर उन्होंने कहा कि कंपनी ने भी इस मांग का स्वागत किया है और हमने दूसरी कंपनियों से बात भी की है। डॉ. पॉल ने कहा कि इस वैक्सीन में लाइव वायरस को इनएक्टिवेट किया जाता है और यह बीएसएल थ्री लेवल की लैब में ही हो सकता है। यह लैब बाकी किसी कंपनी के पास नहीं है। जो कंपनी ऐसी लैब बनाकर जुड़ना चाहती है उसके लिए खुला ऑफर है। देश में 18 साल और इससे ज्यादा उम्र की आबादी 95 करोड़ है। सबकी दोनों डोज मिलाकर करीब 2 अरब डोज की जरूरत होगी। डॉ. पॉल ने कहा कि जो वैक्सीन आ रही हैं वह पर्याप्त होंगी।
WHO से अप्रूव वैक्सीन आएंगी भारतनीति आयोग मेंबर डॉ. वी. के पॉल ने कहा कि ज्यादा से ज्यादा वैक्सीन उपलब्ध कराने के लिए लगातार हर स्तर पर काम हो रहा है। उन्होंने कहा कि अगस्त से दिसंबर तक की वैक्सीन की उपलब्धता देखें तो कुल 216 करोड़ वैक्सीन डोज उपलब्ध होने की उम्मीद है। इसमें 55 करोड़ डोज कोवैक्सीन, 75 करोड़ कोविशील्ड, 30 करोड़ बायो ई सब यूनिट वैक्सीन, 5 करोड़ जायडस कैंडिला डीएनए, 20 करोड़ नोवावैक्सीन, 10 करोड़ भारत बायोटेक नेजल वैक्सीन, 6 करोड़ जिनोवा और 15 करोड़ डोज स्पुतनिक की उपलब्ध होगी। इसके अलावा दूसरी विदेशी वैक्सीन भी आ सकती है।
साभार : नवभारत टाइम्स