बंगाल हिंसा पर बोलीं ममता बनर्जी- बीजेपी को नहीं पच रही हार, वही है जिम्मेदार
पश्चिम बंगाल में चुनाव बाद हिंसा का तांडव जारी है। रविवार से शुरू हुई हिंसा में अब तक 17 लोगों के मारे जाने की खबर है। बीजेपी का दावा है कि मरने वालों में 9 उनके कार्यकर्ता थे। पार्टी ने हिंसा को लेकर टीएमसी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। वहीं आरोप-प्रत्यारोप के इस माहौल में बुधवार को बंगाल की नवनिर्वाचित मुख्यमंत्री ने बीजेपी पर प्रदेश में हिंसा भड़काने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि भगवा पार्टी को अपनी हार नहीं पच रही है। चुनाव बाद राज्य में हिंसा के लिए वही पूरी तरह से जिम्मेदार है।
ममता ने बुधवार को टाइम्स नाउ से बातचीत के दौरान के लिए क्या बीजेपी ही जिम्मेदार है, के सवाल का जवाब देते हुए कहा, ‘हां। अगर आप लिस्ट देखेंगे तो पाएंगे। जहां पर उन्होंने (बीजेपी ने) जीत दर्ज की है, वहां उन्होंने घरों को आग लगाई है और लोगों की हत्या की है। ज्यादातर हमारे लोग मारे गए हैं।’ ममता ने आगे कहा, ‘मुझे टीएमसी-बीजेपी से मतलब नहीं है। मुझे लगता है कि वहां कोई हिंसा नहीं होनी चाहिए। मैंने पहले ही लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की थी।’
बीजेपी पर बरसीं ममता बनर्जी
ममता ने बंगाल में दूसरी सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी भगवा पार्टी पर आरोप लगाते हुए कहा, ‘बीजेपी से पूछिए कि उन्होंने यूपी में क्या किया। वे बिहार के लिए क्या कर रहे हैं। वे त्रिपुरा के लिए क्या कर रहे हैं। वे हमको कोई पाठ न पढ़ाएं क्योंकि मुझे पता है कि लॉ ऐंड ऑर्डर को कैसे टैकल करना है।’ ममता ने कहा कि क्या वे जानते हैं कि वे (बीजेपी) कोरोना मरीजों को दवा क्यों नहीं दे पा रहे हैं? ये (हिंसा) उनका एजेंडा है। वे हार को नहीं पचा पा रहे हैं। वे लोग जो कुछ भी कर रहे हैं वह असामान्य है।
ममता ने कहा, ‘बंगाल एक कल्चर्ड कैपिटल है। आपको लगता है कि हम इसका (हिंसा का) समर्थन करते हैं? नहीं। कोई भी अगर किसी तरह का अपराध करता है तो हम उसके साथ सख्ती से पेश आएंगे।’
बीजेपी नेता डरकर कर रहे पलायन!
इस बीच दावा किया जा रहा है कि घटना से डरे-सहमे करीब 300-400 बीजेपी के कार्यकर्ता बंगाल से सुरक्षा की आस में असम पहुंचे हैं। यह दावा असम सरकार में मंत्री हेमंत बिस्वा सरमा ने किया है। सरमा ने मंगलवार को ट्वीट करके कहा कि एक दुखद घटनाक्रम में 300-400 बीजेपी बंगाल कार्यकर्ता और परिवार के सदस्यों ने असम में धुबरी में आकर रुके हैं। उन लोगों ने बंगाल में अत्याचार और हिंसा का सामना करने के बाद बॉर्डर पार किया है।
मानवाधिकार आयोग ने दिए जांच के आदेश
उधर, राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने पश्चिम बंगाल के कई जिलों में चुनाव के बाद हिंसा के मामले सामने आने के बाद जांच का आदेश दिया है। केंद्र ने राज्य में विपक्षी कार्यकर्ताओं पर हमले की घटनाओं को लेकर सरकार से तथ्यात्मक रिपोर्ट सौंपने को कहा है।
साभार : नवभारत टाइम्स