मुख्तार का छलका दर्द- सेहत का हवाला देकर मांगा बेड और फिजियोथेरेपिस्ट
अपर जनपद एवं सत्र न्यायाधीश गैंगेस्टर कोर्ट द्वितीय में मंगलवार को सदर विधायक मुख्तार अंसारी को वीडियो कांन्फ्रेसिग के जरिए पेश किया गया। इस बीच अंसारी ने जेल मैन्युअल की अनदेखी का आरोप लगाते हुए,जरूरी सुविधा दिए जाने की गुहार लगाई है। बता दें कि मुख्तार के अधिवक्ता दारोगा सिंह ने न्यायालय में आवेदन किया था कि मुख्तार अंसारी अस्वस्थता के कारण अदालत में व्यक्तिगत रूप से आने मे असमर्थ है।
बेड, फिजियोथिरेपिस्ट की मांग
मुख्तार के वकील दरोगा सिंह के मुताबिक पेशी के दौरान ने विधायक अंसारी ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर गठित मेडिकल बोर्ड ने मेडिकल जांच कर कमर में दर्द को ध्यान में रखते हुए हार्ड बेड मुहैया कराने को कहा था। इसके साथ ही फिजियोथिरेपिस्ट की भी बात कही गयी थी। इस सब के बावजूद जेल एडमिनिस्ट्रेशन कुछ भी उपलब्ध नहीं करवा रहा है।
11 जून को होगी अगली सुनवाई
इतना सब सुनने के बाद अदालत ने जेल अधीक्षक को जेल मैनुअल के आधार पर सुविधाएं देने को आदेशित किया। इस मामले में मुख्तार की पेशी के लिए कोर्ट ने वारेंट बी रोपड़ जेल भेजा था। अंसारी वर्तमान में पंजाब की रोपड़ जेल से यूपी की बांदा जेल में शिफ्ट हो चुका है। कोर्ट ने 60 दिन की जुडिशल रिमांड स्वीकार करते हुए, मामले में अब अगली सुनवाई की तारीख 11 जून दी है।
क्या है मामला?
विधायक मुख्तार अंसारी ने अपने लेटर पैड पर कुछ लोगों को शस्त्र लाइसेंस देने की पैरवी की थी। प्रशासन ने शस्त्र लाइसेंस जारी कर दिया। शस्त्र लाइसेंस के सत्यापन के क्रम में यह बात सामने आयी की शस्त्र धारकों के नाम फर्जी और पता सही नहीं दर्ज करवाया गया है। इसी बिनाह पर अंसारी और उसकी पैरवी पर आर्म्स लाइसेंस पाए उसके करीबियों पर गैंगेस्टर एक्ट के तहत एक्शन लिया गया। इस मामले में मुख्तार अंसारी सहित चार लोगों के खिलाफ आरोप पत्र अदालत में दाखिल किया गया था।
साभार : नवभारत टाइम्स