ताइवान ने खदेड़ा चीनी फाइटर प्लेन, तनाव बढ़ा

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भारत चीन तनाव के बीच ताइवान ने अपने हवाई क्षेत्र में घुसे चीनी फाइटर प्लेन को सबक सिखाते हुए मीलों दूर खदेड़ दिया। ताइवान के रक्षा मंत्रालय ने बताया कि पहले चीनी फाइटर प्लेन को रेडियो के जरिए चेतावनी दी गई। जब प्लेन ने इसे अनसुना किया तब ताइवानी लड़ाकू विमानों ने उड़ान भरकर जबरदस्ती उसे अपने हवाई क्षेत्र से मार भगाया।

ताइवानी रक्षा मंत्रालय के अनुसार, पिछले हफ्ते भी चीनी वायुसेना के एसयू-30 लड़ाकू विमानों ने ताइवानी हवाई क्षेत्र का उल्लंघन किया था। जिसके बाद उन्हें चेतावनी देकर भगा दिया गया। हाल के दिनों में चीनी लड़ाकू विमानों के ताइवानी हवाई क्षेत्र में घुसने की वारदातों में तेजी देखने को मिली है।

ताइवान ने बताया कि वायुसीमा उल्लंघन की वारदात उस समय हुई जब वह कुछ घंटे पहले ही अपने पूर्वी तट पर एक मिसाइल का परीक्षण किया था। जिस विमान ने हवाई क्षेत्र का उल्लंघन किया था उसकी पहचान रूसी जहाज की डिजाइन पर आधारित वाई-8 के रूप में की गई। इस जहाज को चीन निगरानी करने के लिए प्रयोग करता है।

1949 में माओत्से तुंग के नेतृत्व में कम्युनिस्ट पार्टी ने चियांग काई शेक के नेतृत्व वाले कॉमिंगतांग सरकार का तख्तापलट कर दिया था। जिसके बाद चियांग काई शेक ने ताइवान द्वीप में जाकर अपनी सरकार का गठन किया। उस समय कम्यूनिस्ट पार्टी के पास मजबूत नौसेना नहीं थी। इसलिए उन्होंने समुद्र पार कर इस द्वीप पर अधिकार नहीं किया। तब से ताइवान खुद को रिपब्लिक ऑफ चाइना मानता है।

चीन ताइवान को अपना अभिन्न अंग मानता है। चीनी कम्यूनिस्ट पार्टी इसके लिए सेना के इस्तेमाल पर भी जोर देती आई है। ताइवान के पास अपनी खुद की सेना भी है। जिसे अमेरिका का समर्थन भी प्राप्त है। हालांकि ताइवान में जबसे डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव पार्टी सत्ता में आई है तबसे चीन के साथ संबंध खराब हुए हैं।

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