चीनी मीडिया ने भारत को दी धमकी, कहा- अबकी बार अमेरिका भी मदद नहीं करेगा
लद्दाख के पैंगोंग इलाके में मात खाने के बाद चीन की सरकारी मीडिया भारत पर भड़की हुई है। जिनपिंग की पिठ्ठू ग्लोबल टाइम्स ने अपने संपादकीय में भारत को धमकाते हुए लिखा है कि भारतीय सेना चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी से खुद की रक्षा नहीं कर सकती है। इतना ही नहीं, डींगे हांकते हुए ग्लोबल टाइम्स ने आगे लिखा कि अगर के साथ युद्ध करता है तो अमेरिका भी उसकी सहायता नहीं करेगा।
1962 की तुलना में होगा अधिक नुकसान
ग्लोबल टाइम्स ने आगे शेखी बघारते हुए लिखा कि अगर भारत अपनी सैन्य ताकत का प्रदर्शन करना चाहता है तो चीनी सेना 1962 की तुलना में भारतीय सेना को अधिक नुकसान पहुंचाने को बाध्य होगी। लेकिन, ग्लोबल टाइम्स यह भूल गया कि 1962 और 2020 में बड़ा अंतर है। आज अगर चीन कोई भी हरकत करता है तो उसकी नौसिखिया सेना को गंभीर अंजाम भुगतना पड़ेगा।
भारत मजबूत चीन का सामना कर रहा
ग्लोबल टाइम्स ने आगे लिखा कि चीन की सेना के पास देश की हर इंच की सुरक्षा के लिए पर्याप्त शक्ति मौजूद है। इसलिए, अभी नई दिल्ली को एक मजबूत चीन का सामना करना पड़ रहा है। उसने यह भी कहा कि चीनी लोगों ने भारतीय उकसावे को लेकर सरकार के प्रति अपना समर्थन दर्शाया है। इसलिए चीन के क्षेत्र में अतिक्रमण की अनुमति नहीं दी जा सकती है।
‘भारत और चीन का कोई मुकाबला नहीं’
सरकारी मीडिया ने आगे लिखा कि चीन भारत से कई गुना ज्यादा मजबूत है। भारत का चीन के लिए कोई मुकाबला नहीं है। हमें किसी भी भारतीय का भ्रम तोड़ना है कि वह अमेरिका जैसे अन्य शक्तियों के साथ मिलकर चीन के साथ टकराव कर निपट सकता है। ऐसा पहली बार नहीं है जब चीन ने भारत को धमकी दी है। गलवान में झड़प के दौरान भी चीनी मीडिया ने भारत के खिलाफ खूब जहर उगला था।
पैंगोंग में भारतीय सेना ने चीनियों को खदेड़ा
29-30 अगस्त की रात को भारतीय सेना ने पैंगोंग झील के दक्षिणी किनारे पर घुसपैठ की कोशिश कर रहे चीनी सैनिकों को मार भगाया। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, 15 जून को गलवान घाटी में हुई झड़प के बाद से ही लद्दाख से लगी सीमा पर भारतीय सेना सतर्क थी। इस दौरान 29-30 अगस्त की रात को पैंगोंग झील इलाके में चीनी सेना 200 सैनिकों और गोला बारूद के साथ पैंगोंग झील के दक्षिणी किनारे पर घुसपैठ करने की कोशिश की थी। लेकिन LAC पर मुस्तैद भारतीय जवानों ने दुश्मन की सेना को पीछे धकेल दिया। चीनी सेना की तैयारियों को लेकर अंदाजा लगाया जा रहा है कि वे इस इलाके में घुसपैठ कर लंबे समय तक कब्जा बनाए रखने की फिराक में थे।
गलवान पर अमेरिका ने फिर भारत का समर्थन किया
लद्दाख के गलवान में 15 जून को हुई हिंसक झड़प पर अमेरिका ने एक बार फिर भारत का खुला समर्थन किया है। अमेरिका के उप विदेश मंत्री स्टीफन बिगन ने कहा कि चीन अपने हितों के हर मोर्चे पर लड़ाई तेज कर रहा है। अमेरिका की रणनीति भारत के गलवान घाटी पर संप्रभुता के दावे सहित सभी मोर्चों पर चीन को पीछे धकेलने की है। चीन ने 29-30 अगस्त को भी पैंगोंग झील इलाके में कब्जे का प्रयास किया था, जिसे भारतीय सेना ने विफल कर दिया।