कमला हैरिस की उम्मीदवारी पर क्या बोला चीन
अमेरिका के राष्ट्रपति चुनाव में डेमोक्रेटिक पार्टी के उम्मीदवार जो बाइडेन ने भारतीय मूल की सीनेटर को उपराष्ट्रपति पद का उम्मीदवार (अपना रनिंग मेट) चुना है। ऐसा पहली बार हुआ है, जब कोई अश्वेत महिला देश की किसी बड़ी पार्टी की ओर से उपराष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनी है। यदि हैरिस उपराष्ट्रपति बन जाती हैं, तो वह इस पद पर आसीन होने वाली अमेरिका की पहली महिला होंगी और देश की पहली भारतीय-अमेरिकी और अफ्रीकी उपराष्ट्रपति होंगी।
अमेरिका का आंतरिक मामला बता चीन ने झाड़ा पल्ला
हैरिस को अमेरिकी चुनाव में उपराष्ट्रपति पद के लिए मजबूत उम्मीदवार माना जा रहा है। जिसके बाद दुनियाभर के देशों में हैरिस को लेकर चर्चा हो रही है। उधर अमेरिका से बढ़ते तनाव के बीच चीन ने हैरिस की उम्मीदवारी पर खुलकर बोलने से इनकार कर दिया है। चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजान ने बीजिंग में कहा कि यह अमेरिका का आंतरिक मामला है और हस्तक्षेप करने में हमारी कोई रुचि नहीं है।
इसलिए चीन ने नहीं की कोई टिप्पणी
माना जा रहा है कि चीन ने इसलिए कोई टिप्पणी नहीं की क्योंकि उसके ऊपर अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव को प्रभावित करने का आरोप लग चुका है। अमेरिका के पूर्व राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जॉन बोल्टन ने अपनी किताब में दावा किया था कि राष्ट्रपति ट्रंप ने चीन से आगामी चुनाव को लेकर मदद मांगी थी। वहीं, अमेरिकी खुफिया एजेंसियों ने भी राष्ट्रपति चुनाव में चीन के हस्तक्षेप को लेकर चेतावनी जारी की है।
चीनी मीडिया बोली- आग में घी का काम करेगी उनकी उम्मीदवारी
वहीं, चीन के सरकारी मीडिया के विशेषज्ञों ने अपनी टिप्पणी में कहा है कि कमला हैरिस को अमेरिकी उपराष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनाने का डेमोक्रेटिक पार्टी का फैसला चीन-अमेरिका के बीच वर्तमान में जारी तनाव में आग में घी डालने का काम करेगा। हैरिस शिनजियांग और हांगकांग में मानवाधिकारों उल्लंघन को लेकर काफी मुखर रही हैं।