सभी शासकीय इमारतों में क्यों नहीं लहराता तिरंगा: हाईकोर्ट
जबलपुर. मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने राज्य की सभी शासकीय इमारतों में राष्ट्रध्वज तिरंगा फहराए जाने की अनिवार्यता का पालन सुनिश्चित न किए जाने के रवैये को कठघरे में रखने वाली जनहित याचिका पर सुनवाई 9 जनवरी तक के लिए बढ़ा दी. इस बीच केन्द्र व राज्य शासन को हर हाल में अपना जवाब प्रस्तुत करने कहा गया है.
गुरुवार को कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश राजेन्द्र मेनन की अध्यक्षता वाली युगलपीठ के समक्ष मामले की सुनवाई हुई. इस दौरान जनहित याचिकाकर्ता राजधानी भोपाल निवासी सामाजिक कार्यकर्ता वीके नसवा ने अपना पक्ष स्वयं रखा.
उन्होंने दलील दी कि 29 अगस्त को नोटिस जारी होने के बावजूद अब तक केन्द्र व राज्य दोनों का जवाब नदारद है. इससे साफ है कि राष्ट्रध्वज से जुड़े बेहद अहम मामले को अपेक्षाकृत हल्के तरीके से लिया जा रहा है. झंडा संहिता का पालन प्रत्येक शासकीय दफ्तर का दायित्व है.
एएसजी जिनेन्द्र जैन को विशेष हिदायत
हाईकोर्ट ने असिस्टेंट सॉलिसिटर जनरल ऑफ इंडिया जिनेन्द्र कुमार जैने को विशेष हिदायत देते हुए आगामी सुनवाई तिथि 9 जनवरी को केन्द्र की ओर से जवाब की प्रस्तुति सुनिश्चित कराने कह दिया. जबकि राज्य का जवाब प्रस्तुत कराने का जिम्मेदार शासकीय अधिवक्ता स्वप्निल गांगुली को सौंपा गया है.