गंगा का भी अध्ययन करे मैथमेटिकल मॉडलिंग सेंटर : नीतीश कुमार

गंगा का भी अध्ययन करे मैथमेटिकल मॉडलिंग सेंटर  : नीतीश कुमार
Facebooktwitterredditpinterestlinkedinmail

पटना  : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि दिल्ली में बैठे अधिकारियों को गंगा की हालत का एहसास नहीं है. पुराने आंकड़ों के आधार पर अध्ययन कर एलायनमेंट तैयार कर लिया जाता है, जबकि वास्तविक स्थिति कुछ और होती है. सिर्फ गंगा नदी की निर्मलता कहने से काम नहीं चलेगा, इसकी अविरलता भी जरूरी है. जब गंगा अविरल रहेगी, तभी स्वच्छ रहने की क्षमता ज्यादा होगी. मुख्यमंत्री ने शनिवार को मैथमेटिकल मॉडलिंग सेंटर (गणितीय प्रतिमान केंद्र) का पटना में उद्घाटन किया.

अनिसाबाद स्थित जल संसाधन भवन में सेंटर ऑफ एक्सीलेंस में इस केंद्र को स्थापित किया गया है. इसके जरिये बिहार की नदियों का आंकड़ों के आधार पर अध्ययन किया जायेगा और बाढ़ आने व तटबंध टूटने की स्थिति से 72 घंटे पहले किसी भी आपात स्थिति का पूर्वानुमान लगाया जा सकेगा.

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि मैथमेटिकल मॉडलिंग सेंटर में फिलहाल कोसी और बागमती नदी का अध्ययन होना है, लेकिन इससे दूसरी नदियों को भी जोड़े. खास कर गंगा नदी को इसमें अविलंब शामिल करना चाहिए और उसका अध्ययन करना चाहिए.  गंगा देश के लिए लाईफलाइन है. गंगा को लेकर जागरूक करना होगा. बिहार में ही गंगा नदी में दूसरी नदियों से पानी आता है. बिहार में गंगा के प्रवेश के समय 400 क्यूमेक्स पानी आना होता है,

जबकि डिस्चार्ज के समय 1600 क्यूमेक्स हो जाता है, लेकिन ऐसा नहीं हो रहा है. गंगा में शिल्ट (गाद) की वजह से पानी का तेजी से बहाव नहीं हो पा रहा है. गंगा के अप स्ट्रीम में कई स्ट्रक्चर बन जाने और फरक्का बराज के कारण शिल्ट का डिपोजिट हो जा रहा है और वह  बंगाल की खाड़ी में नहीं जा पा रहा है. जब पानी में बहाव रहेगा तो शिल्ट भी निकलता जायेगा, लेकिन जब तक इको फ्लो नहीं होगा, शिल्ट निकालने से काम नहीं चलेगा.

Facebooktwitterredditpinterestlinkedinmail

watchm7j

Leave a Reply

Your email address will not be published.