केशो परियोजना घोटला : सीएम ने दिया कार्रवाई का आदेश

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रांची : मुख्यमंत्री रघुवर दास ने विजेता कंस्ट्रक्शन के खिलाफ एफआइआर करने का आदेश दिया है. सोमवार को जल संसाधन िवभाग ने एसीबी को पत्र लिख कर एफआइआर दर्ज करने के लिए कहा है. इस कंस्ट्रक्शन कंपनी पर कोडरमा में निर्माणाधीन केशो जलाशय परियोजना में करोड़ों रुपये का घोटाला करने का आरोप है. मंत्रिमंडल निगरानी की तकनीकी समिति ने अपनी जांच रिपोर्ट में बताया है कि परियोजना का काम कर रही विजेता कंस्ट्रक्शन कंपनी ने 12.50 करोड़ रुपये का घपला किया है.

कंपनी ने काम किये बिना ही भुगतान हासिल कर लिया है. मामले में जल संसाधन विभाग के 13 अभियंताओं को भी दोषी पाया गया है. मुख्यमंत्री ने अभियंताओं पर भी कार्रवाई के निर्देश दिये हैं. विजेता कंस्ट्रक्शन कंपनी रांची क्षेत्रीय विकास प्राधिकार (आरआरडीए) के अध्यक्ष  परमा सिंह के भाई पंचम सिंह की है. कंपनी के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स में उनका  नाम शामिल है.

मई 2016 से चल रही थी जांच  : सरकार की ओर से कोडरमा में केशो जलाशय परियोजना का काम जल्द पूरा करने का कई बार निर्देश दिया गया था. इसके बाद भी यह योजना पूरी नहीं हो  सकी. मई 2016 में जल संसाधन विभाग के तत्कालीन सचिव सुखदेव सिंह ने हजारीबाग के  चीफ इंजीनियर की अध्यक्षता में तकनीकी जांच दल का गठन किया था. कमेटी ने  जांच कर अपनी रिपोर्ट में बताया कि विजेता कंस्ट्रक्शन ने केवल 19 करोड़ रुपये का  ही काम किया है. हालांकि, इसके एवज में कंपनी 44 करोड़ रुपये का भुगतान ले  चुकी है.

जांच रिपोर्ट में कहा गया है कि काम से 25 करोड़ रुपये अधिक भुगतान लेना गबन का मामला बनता है. कमेटी ने इस मामले में कंपनी के खिलाफ कार्रवाई की अनुशंसा की थी. इसके बाद मुख्यमंत्री ने मामले की जांच मंत्रिमंडल  निगरानी विभाग की तकनीकी कमेटी से कराने का निर्देश दिया था.

67  करोड़ रुपये की कुल लागतवाली केशो जलाशय परियोजना का काम  वित्तीय वर्ष  2006-07 में विजेता कंस्ट्रक्शन कंपनी को दिया गया था. कंपनी ने शिड्यूल रेट से  नौ फीसदी अधिक पर काम लिया था.  ढाई साल में काम पूरा करना था.  पर, 10 साल  बाद भी काम पूरा नहीं हो सका. परियोजना का एक चौथाई काम भी नहीं हुआ.  परियोजना के लिए विजेता कंस्ट्रक्शन ने अब तक 44 करोड़ का भुगतान  प्राप्त किया है. पिछले चार वर्षों से काम बंद है.

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