बच्चियों को गोद लेने संबंधित नियमों पर हो पुनर्विचार : मोदी
पटना : उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने कहा है कि नालंदा की एक संस्था से गोद ली गयी तीन साल की बच्ची सरस्वती उर्फ शेरिन मैथ्यू की अमेरिका के टेक्सास में हुई हत्या के मामले का उद्भेदन भारत सरकार और वहां के भारतीय दूतावास के प्रयास से हुआ है.
मोदी की विदेश मंत्री सुषमा स्वराज से शुक्रवार को टेलीफोन पर इस मुद्दे पर बातचीत हुई थी. स्वराज से आग्रह किया गया है कि विदेशी दंपतियों को भारतीय बच्चों को गोद लेने के नियमों पर पुनर्विचार करना चाहिए, क्योंकि विदेश गये भारतीय बच्चों की ट्रैकिंग संभव नहीं हो पाती है.
उपमुख्यमंत्री ने इस मामले को तार्किक परिणति तक पहुंचाने और बच्ची को गोद लेने वाले पिता को कड़ी से कड़ी सजा दिलाने का आग्रह किया. मोदी ने बताया कि 23 जून, 2016 को नालंदा स्थित ‘मदर टेरेसा अनाथ सेवा संस्थान’ से केरल निवासी अप्रवासी अमेरिकी दम्पति ने डेढ़ साल की बच्ची सरस्वती को गोद लिया और बाद में उसका नाम शेरिन मैथ्यू कर दिया.
यह बच्ची लावारिस हालत में गया में पायी गयी थी, जिसे 14 फरवरी, 2015 को इस संस्था को सौंपा गया था. गोद देने वाली संस्था को 15 सितंबर, 2017 को वित्तीय अनियमितता व कुप्रबंधन के आरोप में बंद कर दिया गया था.
कई दिनों तक गायब रहने वाली बच्ची को गोद लेने वाले दम्पति ने अमानवीय तरीके से सुबह के 3 बजे घर से निकाल दिया था और पुलिस की पूछताछ में बार–बार अपना बयान बदल रहे थे, मगर बाद में उसकी लाश मिली.