नये मध्यप्रदेश का निर्माण करने का संकल्प ले युवा शक्ति : मुख्यमंत्री
भोपाल : मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने युवाओं से आव्हान किया कि वे नये भारत का निर्माण करने के लिये नये मध्यप्रदेश का निर्माण करने आगे आयें। उन्होंने कहा कि यूथ फॉर न्यू मध्यप्रदेश की अवधारणा के अंतर्गत सभी जिलों में युवा क्लब बनाये जायेंगे। मुख्यमंत्री ने युवाओं से कहा कि गरीबी मुक्त मध्यप्रदेश बनाने का संकल्प लें। श्री चौहान आज यहां शौर्य स्मारक प्रांगण में भारत छोड़ो आंदोलन की 75वी वर्षगाँठ पर युवाओं को संबोधित कर रहे थे। श्री चौहान ने कहा कि युवाओं को सीमाओं पर तैनात जाबांज जवानों से संवाद करने भेजने और देशभक्ति की प्रेरणा देने के लिये शुरू की गई माँ तुझे प्रणाम योजना में अब अंडमान और निकोबार को भी शामिल किया जायेगा ताकि युवा जान सकें कि क्रांतिकारियों ने कितनी यातनायें सहीं।
श्री चौहान ने युवाओं से आतंकवाद, जातिवाद, संप्रदायवाद, भ्रष्टाचार और गरीबी मुक्त मध्यप्रदेश बनाने का संकल्प लेने का आव्हान किया। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री मोदी ने आतंकवाद, संप्रदायवाद, गरीबी, भ्रष्टाचार और जातिवाद मुक्त भारत का जो सपना देखा है, उसे पूरा करने में मध्यप्रदेश के युवा भी भरपूर योगदान देंगे।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने युवाओं से संवाद करते हुये उन्हें विस्तार से बताया कि आजादी की लड़ाई की शुरूआत कैसे हुई और कैसे क्रांतिकारी एवं अहिंसात्मक आंदोलन साथ-साथ चले। उन्होंने कहा कि आजादी आसानी से नहीं मिली। हजारों क्रांतिकारियों ने अपने जीवन का बलिदान दिया। उन्होंने कहा कि अंग्रेजों के खिलाफ क्रांति की शुरूआत 1857 से हुई। क्रांतिकारियों ने मेरठ से दिल्ली की तरफ मार्च किया। श्री चौहान ने कहा कि अपनों की गद्दारी के कारण 1857 की क्रांति सफल नहीं हो सकी लेकिन लड़ाई जारी रही। लाल, बाल, पाल की जोड़ी ने क्रांति में नई जान फूंकी। गांधी जी ने असहयोग आंदोलन चलाया। एक तरफ क्रांतिकारियों का आंदोलन था दूसरी तरफ अहिंसावादी आंदोलन था। उन्होंने युवाओं को बताया कि कैसे क्रांतिकारियों ने यातनायें सहीं। कैसे चन्द्रशेखर, सुभाषचन्द्र बोस और भगत सिंह जैसे क्रांतिकारियों ने देश की आजादी के लिये काम किया। गांधी जी ने करो या मरो का नारा दिया और भारत छोड़ो आंदोलन आगे बढ़ा। मुख्यमंत्री ने कहा कि भारत छोड़ो आंदोलन हर देशभक्त नागरिक का आंदोलन बन गया था। मध्यप्रदेश में भी कई क्रांतिकारियों ने कुरबानी दी। बैतूल में ग्यारह देशभक्त शहीद हुये, इंदौर में दस और जबलपुर में भी क्रांतिकारियों ने आजादी के लिये अपनी जान दी।
श्री चौहान ने कहा कि मध्यप्रदेश युवाओं का प्रदेश है। युवाओं के लिये राज्य सरकार ने कई अनूठी योजनायें शुरू की हैं। उन्होंने कहा कि प्रतिभावान विद्यार्थियों की पढ़ाई का खर्चा सरकार उठायेगी शिक्षा में धन की कमी को बाधा नहीं बनने दिया जायेगा। मुख्मयंत्री स्वरोजगार, मुख्यमंत्री युवा उद्यमी योजना, मुख्यमंत्री युवा कॉन्ट्रेक्टर योजना जैसी योजनायें गिनाते हुए मुख्यमंत्री ने युवाओं का आव्हान किया कि इन योजनाओं का लाभ उठाने आगे आयें। नौकरी मांगने वाले नही नौकरी देने वाले बनें। उन्होंने कहा कि वे युवाओं को आशाओं और आत्मविश्वास से भरा देखना चाहते हैं। वे प्रदेश के लिये सही दिशा में सोचें और अच्छा काम करें। श्री चौहान ने युवाओं को नया मध्यप्रदेश गढ़ने का संकल्प दिलाया और कहा कि आगामी 15 अगस्त को सभी युवा उत्साहपूर्वक मनायें।
सहकारिता राज्य मंत्री श्री विश्वास सारंग ने कहा कि स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के बलिदान के कारण भारत को स्वतंत्रता मिली। क्रांतिकारियों ने अपना सर्वस्व न्यौछावर कर भारत को आजादी दिलायी। उन्होंने युवाओं का आव्हान किया कि वे आजादी को चिरस्थायी बनाने का संकल्प लें। उन्होने युवाओं को भारत छोड़ो आंदोलन की स्मृति से जोड़ने की पहल करने के लिये मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त किया ।
इससे पहले श्री चौहान ने भोपाल के स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों श्री मानिक चंद चौबे, श्रीमती शर्मा, श्री जमीर खान, श्री मुख्तार खान, श्री लक्ष्मीकांत मिश्रा का शॉल एवं श्रीफल भेंट कर सम्मान किया।
श्री चौहान ने विभिन्न स्कूलों और महाविद्यालयों द्वारा भारत छोड़ो आंदोलन की स्मृति में दी गई प्रस्तुतियों के लिये एक–एक लाख रूपये की सम्मान निधि देने की घोषणा भी की। प्रारंभ में श्री चौहान ने शौर्य स्मारक में अमर शहीदों का स्मरण किया और श्रद्धासुमन अर्पित किये। कार्यक्रम के आरंभ में मुख्यमंत्री ने महात्मा गांधी के चित्र पर पुष्प अर्पित किया और प्रतीक स्वरूप आजादी की मशाल प्रज्जवलित की।
प्रमुख सचिव संस्कृति श्री मनोज श्रीवास्तव ने आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर विधायक श्री सुरेन्द्र नाथ सिंह, भोपाल महापौर श्री आलोक शर्मा, श्रीमती साधना सिंह चौहान एवं बड़ी संख्या में राजधानी के युवा और स्कूल, कॉलेजों के विद्यार्थी उपस्थित थे।