मायावती दौलत की भूखी : इंद्रजीत सरोज

मायावती दौलत की भूखी : इंद्रजीत सरोज
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इलाहाबाद : बीएसपी से दिग्गज नेताओं के बाहर होने का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। स्वामी प्रसाद मौर्य और नसीमुद्दीन सिद्दीकी के बाद अब पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और यूपी के पूर्व कैबिनेट मंत्री इंद्रजीत सरोज को बाहर का रास्ता दिखा दिया गया है।

इंद्रजीत सरोज बीएसपी के संस्थापक सदस्यों में शामिल थे और उन्हें कांशीराम के करीबियों में शुमार किया जाता रहा है। पार्टी से बर्खास्त किये जाने के बाद इंद्रजीत सरोज ने भी बसपा सुप्रीमो मायावती पर पैसा वसूली समेत कई दूसरे गंभीर आरोप लगाए हैं।

एनबीटी से बात करते हुए इंद्रजीत ने आरोप लगाया कि, 8 जुलाई को पार्टी के जिला प्रभारियों से लेकर जोनल कोऑर्डिनेटरों तक की मीटिंग लखनऊ में बुलाई गई थी। जिसमें कहा गया कि, पार्टी को पैसों की जरूरत है। प्रदेश की हर विधान सभा से रूपयों की वसूली की जाए। चाहे वहां से प्रत्याशी हारें हों या जीते। कहा कि, सभी विधानसभाओं के लिए रेट भी तय किए गए थे।

पश्चिमी उत्तर प्रदेश की विधान सभाओं से 22 लाख, पूर्वी उत्तर प्रदेश की विधान सभाओं से 9 लाख और इलाहाबाद और लखनऊ मंडल की विधान सभाओं से 15 लाख वसूलने के लिए कहा गया था। इसके लिए बाकायदा रजिस्टर भी बनाने का निर्देश था, लेकिन हारी हुई पार्टी को प्रत्याशी पैसे देने को तैयार नहीं थे। इसलिए मैंने पहले ही चुनाव लड़ने या रुपयों की वसूली से मना कर दिया था। लेकिन रामकुमार कुरील और मुनकाद अली ने मुझसे इस संबंध में बात की तो दोबारा मैंने इसमें असमर्थता जतायी।

मंगलवार की शाम पांच बजे बीएसपी सुप्रीमो का फोन मेरे पास आया और उन्होंने कहा कि, ‘क्या जो मुनकाद और रामकुमार बता रहे हैं सही है’। मैंने कहा, हां बिल्कुल सही है। मैंने आपसे पहले ही मना कर दिया था कि, मैं न तो चुनाव लड़ूंगा न ही पैसों की वसूली कर पाऊंगा। इसके बाद उन्होंने कहा कि, तब पार्टी को तुम्हारी जरूरत नहीं है। ‘अब घर बैठो, तुम्हें पार्टी के सभी पदों से हटाया जा रहा है’।

इंद्रजीत का आरोप है कि, मायावती के पैसों की डिमांड पूरी न कर पाने की वजह से ही उन्हें पार्टी से बर्खास्त किया गया है। दूसरे नेताओं की तरह इंद्रजीत सरोज ने भी बीएसपी से बाहर होने के बाद आरोप लगाया कि, मायावती पैसों की भूखी हैं और उनके जैसे पुराने नेताओं पर भी लगातार पैसे वसूलकर पहुंचाने का दबाव बनाती थीं। वसूली करने से जब उन्होंने मना कर दिया तब उन्हें पार्टी से बाहर करने की जानकारी दी गयी। यह भी कहा कि, बीएसपी में पार्षद से लेकर सांसद तक की सीट के रेट तय हैं।

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