जश्न न मनायें, गलतियों पर आत्ममंथन करें : शिंदे
रांची: केंद्र सरकार को तीन वर्ष पूरे होने पर जश्न मनाने के बजाय आत्ममंथन करना चाहिए कि क्या-क्या गलती हो गयी है. केंद्र सरकार हर मोरचे पर विफल रही है और केवल पब्लिसिटी और प्रोपगेंडा में लगी है. ये बातें पूर्व केंद्रीय गृहमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सुशील कुमार शिंदे ने शुक्रवार को कही. वे कांग्रेस भवन में पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे.
श्री शिंदे ने कहा कि सत्ता में आने के समय नरेंद्र मोदी ने कहा था कि गरीबों के एकाउंट पर 15 लाख रुपये आयेंगे. 50 प्रतिशत किसानों को अधिक न्यूनतम दर दिया जायेगा, लेकिन सरकार ने कोई भी वादा पूरा नहीं किया. वर्तमान शासन में गरीब अंधेरे में है. किसान रोज मर रहा है. सीमा पर विषम परिस्थिति है.
यूपीए के शासन में सैनिकों पर नहीं हुई पत्थरबाजी
श्री शिंदे ने कहा कि यूपीए के शासन काल में कभी भी सैनिकों पर पत्थरबाजी नहीं हुई. कश्मीर के नौजवानों से बातचीत होना चाहिए. उनके लिए रोजगार के रास्ते तैयार करने चाहिए. सीमा पर रोज-रोज सैनिक मारे जा रहे हैं. यूपीए की सरकार में भी स्ट्राइक हुए, लेकिन कूटनीति कारणों से हमने नहीं बताया. केंद्र सरकार प्रशासनिक कामों की भी शो-बाजी करती है. असम में पुल हो या कश्मीर में सुरंग, यूपीए सरकार के कार्यों को केंद्र सरकार अपना बता रही है.