भारत-बांग्लादेश के बीच 22 समझौतों पर साइन;तीस्ता जल पर शीघ्र समाधान
नई दिल्ली : भारत और बांग्लादेश के बीच शनिवार को 22 महत्वपूर्ण समझौतों पर हस्ताक्षर हुए लेकिन लंबे समय से लंबित तीस्ता जल साझा करने को लेकर दोनों देश किसी अंतिम निर्णय पर नहीं पहुंच सके. हालांकि, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तीस्ता नदी पर जल्द सुलह की उम्मीद जताई. इसके अलावा भारत ने बांग्लादेश के लिए 4.5 अरब डॉलर की नई रियायती ऋण सुविधा और उसकी सैन्य खरीद में मदद के लिए 50 करोड़ डॉलर की अतिरिक्त सहायता की घोषणा की मोदी ने हसीना के साथ एक संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘हम भारत में बांग्लादेश के साथ अपने संबंधों को लेकर खुश होते हैं. संबंध जो खून और रिश्तेदारी से बने हैं. संबंध जो हमारे लोगों के लिए एक बेहतर और सुरक्षित भविष्य चाहते हैं.’ दोनों देश आतंकवाद की चुनौती का मुकाबला गहन सुरक्षा और रक्षा सहयोग से करने पर सहमत हुए. मोदी ने कट्टरवाद के प्रसार को न केवल दोनों देशों बल्कि पूरे क्षेत्र के लिए एक ‘गंभीर खतरा’बताया.
जीरो टॉलरेंस की नीति जारी रखेगा बांग्लादेश
वहीं सात वर्षों के बाद भारत की यात्रा पर आयीं हसीना ने कहा कि उनका देश आतंकवाद के प्रति बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं करने की नीति जारी रखेगी. उन्होंने भारत-बांग्लादेश सीमा पर शांति और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सभी कदम उठाने का वादा किया.
उन्होंने कहा, ‘हम इस पर सहमत हुए कि हमारे सहयोग का एजेंडा उद्देश्यपूर्ण कदम पर केंद्रित रहना चाहिए. हम विशिष्ट रूप से नये रास्तों की रूपरेखा तैयार करने और हमारे संबंध को आगे बढ़ाने के लिए नये अवसरों का उपयोग करने पर विचार कर रहे हैं.’
तीस्ता जल साझा करने को आंतिम रूप नहीं दे पाए दोनों देश
यद्यपि दोनों पक्षों ने अपने संबंधों को नये स्तर पर ले जाने का निर्णय किया लेकिन वे तीस्ता जल साझा करने के लंबे समय से लंबित समझौते को अंतिम रूप नहीं दे सके. ऐसा मुख्य तौर पर पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की ओर से इसका विरोध करने के चलते हुआ. ममता दोनों देशों के बीच नयी ट्रेन और बस सेवाएं शुरू होने के मौके पर मौजूद थीं. मोदी ने तीस्ता मुद्दे का उल्लेख करते हुए कहा कि समझौता भारत..बांग्लादेश संबंध के लिए महत्वपूर्ण है. उन्होंने उम्मीद जतायी कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री इसका अंतत: समर्थन करेंगी.
उन्होंने कहा, ‘मैं बहुत प्रसन्न हूं कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री आज मेरी सम्मानित मेहमान हैं. मुझे पता है कि बांग्लादेश के लिए उनकी भावनाएं मेरे जैसी ही गर्मजोशी भरी हैं. मैं आपको और बांग्लादेश के लोगों को हमारी प्रतिबद्धता और प्रयास जारी रखने का भरोसा देता हूं.’ मोदी ने कहा कि कि उनका ‘मजबूती’से यह मानना है कि मुद्दे का हल जल्द निकाल सकता है और निकाल जायेगा.
मोदी ने हसीना की प्रशंसा की
प्रधानमंत्री मोदी ने हसीना की उनकी सरकार की आतंकवाद के प्रति ‘बिल्कुल भी बर्दाश्त’ नहीं करने की नीति के लिए प्रशंसा की और कहा कि ‘यह हम सभी के लिए एक प्रेरणा है.’ कोलकाता और बांग्लादेश के खुलना के बीच एक नयी बस और ट्रेन सेवाएं शुरू की गई.
मोदी ने कहा, ‘भारत हमेशा से ही बांग्लादेश और उसके लोगों की समृद्धि के लिए खड़ा रहा है. हम लंबे समय से और विकास के भरोसेमंद सहयोगी हैं. भारत और बांग्लादेश इसको लेकर प्रतिबद्ध हैं कि हमारे सहयोग के फल से हमारे लोगों को लाभ होगा.’
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि दोनों पक्षों ने व्यापार को बढ़ावा देने और व्यापक क्षेत्रीय लाभ के लिए वाणिज्यिक संबंधों को मजबूत करने की जरूरत को स्वीकार किया. उन्होंने इस परिप्रेक्ष्य में व्यापार के लिए नये सीमा हाट खोलने के एक समझौते का उल्लेख किया और कहा कि तटीय जहाजरानी समझौते को लागू करने के लिए कदम उठाये जा रहे हैं.
क्षेत्रीय सम्पर्क के बारे में बात करते हुए मोदी ने कहा कि भारत बीबीआईएन (बांग्लादेश, भूटान, भारत, नेपाल) मोटर वाहन समझौते को जल्द लागू करने का इच्छुक है जिससे ‘उपक्षेत्रीय एकीकरण के एक नये युग की शुरुआत होगी.’ बीबीआईएन पहल पाकिस्तान द्वारा दक्षेस क्षेत्रीय परिवहन पहल को बाधित करने के बाद की गई.
असैन्य परमाणु क्षेत्र में सहयोग पर समझौता
आज जिन समझौतों पर हस्ताक्षर हुए उनमें रक्षा सहयोग रूपरेखा समझौते पर एक सहमतिपत्र और भारत की ओर से 50 करोड़ डॉलर का रक्षा ऋण सुविधा देने वाला तथा असैन्य परमाणु क्षेत्र में सहयोग पर समझौता शामिल हैं जिसके तहत भारत बांग्लादेश में परमाणु संयंत्रों की स्थापना कर पाएगा.
रक्षा ऋण सुविधा समझौते के तहत भारत बांग्लादेश को सैन्य साजोसामान की आपूर्ति करेगा. अन्य प्रमुख सहमतिपत्रों जिन पर हस्ताक्षर हुए उनमें तटीय और प्रोटोकॉल मार्ग पर क्रूज सेवाएं, साइबर सुरक्षा पर सहयोग तथा बाहरी अंतरिक्ष के शांतिपूर्ण इस्तेमाल पर सहयोग शामिल है.
‘अनफिनिश्ड मेमोआयर्स’ का हिंदी अनुवाद जारी
मोदी ने कहा, ‘हम नये क्षेत्रों में सहयोग बनाना चाहते हैं, विशेष तौर पर कुछ उच्च प्रौद्योगिक क्षेत्रों में जिनका हमारे दोनों समाजों के युवाओं के साथ गहरा जुड़ाव है.’हसीना के पिता एवं बांग्लादेश के संस्थापक बंगबंधु शेख मुजिबुर रहमान के प्रति सम्मान के तहत दिल्ली में एक प्रमुख सड़क का नामकरण उनके नाम पर किया गया है. मोदी और हसीना ने बंगबंधु की पुस्तक ‘अनफिनिश्ड मेमोआयर्स’ का हिंदी अनुवाद भी जारी किया.
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि 4.5 अरब डॉलर की ताजा सहायता के साथ ही बांग्लादेश के लिए भारत का संसाधन आवंटन पिछले छह वर्षों में आठ अरब डॉलर दर्ज किया गया है. उन्होंने सहयोग के प्रमुख क्षेत्रों की पहचान करते हुए कहा कि ऊर्जा सहयोग दो तरफा विकास साझेदारी का एक प्रमुख आयाम है. मोदी ने कहा, ‘आज हमने बांग्लादेश को आपूर्ति होने वाले 600 मेगावाट की बिजली में 60 मेगावाट जोड़ा है. इसमें और 500 मेगावाट की आपूर्ति की प्रतिबद्धता जतायी गई है.’
उन्होंने कहा, ‘हम नुमालीगढ़ से पर्वतीपुर के बीच डीजल पाइपलाइन के वित्तपोषण पर भी सहमत हुए हैं. हमारी कंपनियां बांग्लादेश को हाई स्पीड डीजल की आपूर्ति के लिए एक दीर्घकालिक समझौता कर रही हैं. हम पाइपलाइन के निर्माण होने तक नियमित आपूर्ति के लिए एक समयसारिणी पर भी सहमत हुए हैं.’