राज्य सरकार और नाबार्ड के बीच समझौता
रायपुर: मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह की अध्यक्षता में कल 21 मार्च को यहां विधानसभा परिसर स्थित उनके कार्यालय कक्ष में आयोजित बैठक में राज्य सरकार और राष्ट्रीय कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) के बीच समझौता ज्ञापन (एम.ओ.यू.) पर हस्ताक्षर किए गए। इस समझौते के अनुसार नाबार्ड द्वारा छत्तीसगढ़ में प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के तहत तीन अपूर्ण वृहद सिंचाई योजनाओं को पूर्ण करने के लिए लगभग 715 करोड़ रूपए का ऋण दिया जाएगा। इन योजनाओं में केलो वृहद सिंचाई परियोजना, खारंग नहर लाइनिंग परियोजना और मनियारी नहर लाइनिंग परियोजना शामिल हैं। इन्हें वर्ष 2019 तक पूर्ण करने का लक्ष्य है। इन तीनों परियोजनाओं के पूर्ण होने पर 47 हजार 685 हेक्टेयर के रकबे में सिंचाई सुविधा का विस्तार होगा। एम.ओ.यू. के अवसर पर कृषि और जल संसाधन मंत्री श्री बृजमोहन अग्रवाल, मुख्य सचिव श्री विवेक ढांड, वित्त विभाग के प्रमुख सचिव श्री अमिताभ जैन, जलसंसाधन विभाग के सचिव श्री जी.एस. मिश्रा और विशेष सचिव श्री कमलप्रीत सिंह सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। समझौता ज्ञापन पर राज्य सरकार की ओर से वित्त विभाग के प्रमुख सचिव श्री अमिताभ जैन ने हस्ताक्षर किए। जल संसाधन विभाग के अधिकारियों ने इस अवसर पर बताया कि प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना में केन्द्र सरकार द्वारा 99 महत्वपूर्ण योजनाओं को शामिल किया गया है, जिनमें छत्तीसगढ़ की तीन बड़ी परियोजनाएं शामिल हैं। केलो वृहद सिंचाई परियोजना का वर्तमान में 99 प्रतिशत कार्य पूर्ण हो गया है। अब इसके शेष निर्माण कार्य और लगभग 22 हजार 810 हेक्टेयर के सैंच्य क्षेत्र में काडा नालियों के मिट्टी के कार्य, लाइनिंग कार्य तथा पक्की संरचनाओं के निर्माण किया जाएगा। खारंग नहर लाइनिंग परियोजना का भी 99 प्रतिशत कार्य पूर्ण हो गया है। अब इसमें भी सैंच्य क्षेत्र में काडा नालियों के मिट्टी के कार्य, लाइनिंग कार्य तथा पक्की संरचनाओं के निर्माण किया जाएगा। लगभग दस हजार 300 हेक्टेयर के सैच्य क्षेत्र में यह कार्य होगा। मनियारी सिंचाई परियोजना को पूर्ण करने के लिए भी इसके 14 हजार 515 हेक्टेयर के सैंच्य क्षेत्र में काडा नालियों के मिट्टी के कार्य लिए जाएंगे।