मंगल पर वैज्ञानिकों को मिले विशाल बाढ़ के निशान, 4 अरब साल पहले गिरे उल्कापिंड ने किया था यह हाल?

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वॉशिंगटन
है या नहीं, इसका जवाब ढूंढने के लिए वैज्ञानिक रिसर्च करते रहते हैं। ताजा स्टडी में वैज्ञानिकों को चौंकाने वाले नतीजे मिले हैं। जैकसन स्टेट यूनिवर्सिटी, कॉर्नेल यूनिवर्सिटी, जेट प्रोपल्शन लैबोरेटरी और यूनिवर्सिटी ऑफ हवाई के वैज्ञानिकों को पता चला है कि मंगल पर करीब 4 अरब साल पहले भयानक बाढ़ आई थी।

स्टडी के एक वैज्ञानिक अल्बर्टो जी फाइरान ने बताया है कि Curiosity रोवर को मिले सेडिमेंटोलॉजिकल डेटा के आधार पर पहली बार भयानक बाढ़ का पता चला है। इससे पहले बाढ़ से पीछे रह गए डिपॉजिट्स को कभी पहचाना नहीं जा सका था। इसी महीने Scientific Reports जर्नल में छापी गई रिपोर्ट में Gale Crater और उसकी सेडिमेंटरी लेयर्स से मिले डेटा को स्टडी किया गया है। इसकी मदद से पहले पानी, हवा और दूसरे फैक्टर्स को समझा गया है।

कैसे आई बाढ़?
रोवर को Gale Crater में megaripples (विशाल लहरों के निशान) मिले जो कभी वहां आई बाढ़ की ओर इशारा करते हैं। रिसर्चर्स का मानना है कि हो सकता है कि किसी उल्कापिंड की वजह से यह विशाल बाढ़ आई हो। इसकी वजह से मंगल पर मौजूद बर्फ पिघल गई और कार्बनडायऑक्साइड और मीथेन रिलीज होने लगीं। इससे मंगल पर हालात गर्म और गीले हालात पैदा हुए। इसके बाद भारी बारिश हुई होगी।

अल्बर्टों का कहना है कि स्टडी इशारा करती है कि शुरुआती दिनों में मंगल के हालात ऐसे थे कि वहां तरल पानी हुआ करता था। उन्होंने कहा कि इससे संकेत मिलते हैं कि वहां जीवन संभव था लेकिन क्या वहां जीवन था? इसके जवाब ढूंढने में Perseverance रोवर मदद कर सकता है।

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